कैसे पहचाने मलेरिया के लक्षण, जानिए बचने के आसान उपाय
आज दुनिया भर में मलेरिया डे मनाया जा रहा है । मलेरिया की बीमारी के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए हर साल 25 अप्रैल को मलेरिया डे मनाया जाता है। यह एक खतरनाक संक्रमण बीमारी है जिस के शुरुआती लक्षण में बुखार आता है अगर इसका समय पर इलाज नहीं हुआ तो जानलेवा साबित भी हो सकता है।
भारत में मलेरिया की बीमारी सरकार के लिए काफी समय से सिरदर्द बनी हुई है । इसे जड़ से मिटाने के लिए हर साल 25 अप्रैल को दुनियाभर में मलेरिया डे मनाया जाता है। यह बीमारी मादा एनाफिलीज मच्छर के काटने से फैलती है | यहाँ आज यानी 25 अप्रैल को पूरे दुनिया में विश्व मलेरिया डे मनाया जाता है । इस दिन लोगों को मलेरिया के प्रति जागरूक किया जाता है ।।नार्मल मलेरिया होने पर व्यक्ति जल्दी ही रिकवर हो जाता है वहीं गंभीर रूप में मलेरिया होने पर मरीज को अस्पताल में भर्ती करना पड़ सकता है।
जब कोई मादा एनाफिलीज मच्छर संक्रमित मरीज का खून चूसता है उसके बाद स्वस्थ व्यक्ति को काटता है तो वह मलेरिया से संक्रमित हो जाता है । इसलिए इस मच्छर को पैदा होने से रोकना बेहद जरूरी है आमतौर पर मलेरिया 2 हफ्ते में ठीक हो जाता है। इस बीमारी को नजरअंदाज करना जानलेवा साबित हो सकता है।
कैसे होता है मलेरिया ?
एनाफिलीज मच्छर के काटने से प्लासमोडियम नामक पैरासाइट्स आपके ब्लड में पहुंच जाता है । शरीर की लाल रक्त कोशिकाओं को खत्म करने लगता है इसकी कमी से खून बनना कम हो जाता है यह मच्छर ज्यादातर नम और पानी वाली जगह पर पाया जाता है। इसलिए मच्छर से बचाव के लिए घर में आसपास सफाई और पानी जमा ना होने देने की बात कही जाती है । कुछ मामलों में दूषित रक्त चढ़ने और दूषित रुई के कारण भी मलेरिया हो सकता है। इसके शुरुआती लक्षण कप-कपी वाली ठंड लगना, तेज बुखार और सिर दर्द होता है । इसके अलावा शरीर में दर्द जी मिचलाना उल्टी पसीना आना आदि जैसी दिक्कतें हो सकती है । मलेरिया के मरीजों की हेल्दी डाइट लेनी चाहिए ताकि वह जल्द ही ठीक हो सके |
मरीज को हाइड्रेट रखें
मलेरिया होने पर मरीज को हाइड्रेट रखना जरूरी है इसलिए मरीज को नारियल पानी, नींबू पानी ,छाछ, दाल का सूप , इलेक्ट्रोल वाटर जैसे तरल पदार्थ का सेवन करना चाहिए |
पोषक आहार का सेवन करें
खानपान जितना पौष्टिक और हेल्दी होगा मलेरिया के मरीज उतनी जल्दी रिकवरी करते हैं। खानपान में मरीज को संतुलित आहार देना चाहिए। संतुलित आहार में अनाज ,दालें, सब्जियां, फल खाने के लिए देना चाहिए। यह सभी आहार आवश्यक न्यूट्रिएंट्स से भरपूर होते हैं और शरीर में फ्लूड बैलेंस को बनाए रखते हैं।
लो फाइबर फूड डे
मलेरिया होने पर शुरुआती दौर में कम फाइबर वाली चीजें खिलानी चाहिए। मरीज को खिचड़ी, हल्की मूंग दाल के साथ उबले हुए नरम चावल ,दलिया आदि आवश्य खिलाना चाहिए।
बचने के उपाय
घर के आस-पास हमेशा सफाई रखें और पानी का जमावड़ा ना होने दें| मच्छर पानी में ही अंडे देते हैं लिहाजा कूलर की टंकी आसपास के गड्ढे ऐसी जगह जहां पानी जमा होता हैं वहाँ पानी जमा ना होने दे।मच्छर के काटने से बचने के लिए कोशिश करें कि फुल पैंट और फुल स्लीव्स के कपड़े पहनने चाहिए ताकि शरीर पूरी तरह ढका रहे। मानसून या गर्मी में खुद को अच्छी तरह से हाइड्रेट रखना चाहिए। आप मलेरिया से अपना बचाव कर सकते हैं। इन दिनों शरीर गर्म रहता है इसलिए दिन भर पर्याप्त पानी पीने के अलावा नारियल पानी ,जूस आदि पीते रहे।